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पटना: प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने कल रात पोंजी कंपनी महुआ ग्रुप के प्रमुख संचालक जवाहर लाल शाह को गिरफ्तार कर लिया। ED ने उनकी गिरफ्तारी मुजफ्फरपुर स्थित उनके आवास से की, जहां पर छापेमारी के दौरान कई महत्वपूर्ण दस्तावेज और डिजिटल उपकरण बरामद किए गए। ED सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, गिरफ्तार जवाहर लाल शाह पर आरोप है कि उन्होंने पोंजी स्कीम के जरिए भारी मात्रा में लोगों से पैसे जुटाए और इसके बदले उन्हें किसी भी प्रकार का लाभ नहीं दिया।
इसके अलावा, जांच में यह भी सामने आया कि जवाहर के साथ दिल्ली और दार्जिलिंग में भी एक-एक स्थान पर छापेमारी की गई, जहां से संबंधित दस्तावेजों की बरामदगी की गई। इस छापेमारी और गिरफ्तारियों के दौरान, ED ने बड़ी संख्या में दस्तावेज और डिजिटल उपकरण बरामद किए हैं, जिनकी जांच अभी चल रही है। खास बात यह है कि दिल्ली में रहने वाले एक प्रमुख व्यक्ति भी इस फर्जीवाड़े में शामिल हो सकते हैं, जो ED की जांच की जद में आ गए हैं। ED जल्द ही उनसे पूछताछ के लिए समन जारी कर सकती है।
अब तक की जांच में ED ने करीब 100 करोड़ रुपये के फर्जीवाड़े का खुलासा किया है, जो इस घोटाले की गंभीरता को दर्शाता है। इस मामले की जांच में कई और लोगों के नाम सामने आ सकते हैं, और ED ने बताया कि आने वाले दिनों में और गिरफ्तारियां हो सकती हैं। जवाहर लाल शाह को अब ED रिमांड पर लेकर पूछताछ करेगी, ताकि इस पूरे घोटाले की परतें खुल सकें और दोषियों को सजा दिलवाई जा सके। यह कार्रवाई पोंजी स्कीम से जुड़े मामलों में ED की ओर से एक अहम कदम है और इससे यह संदेश जाता है कि ऐसे फर्जीवाड़ों को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।