City Post Live
NEWS 24x7

विशेष राज्य के दर्जे के लिए केंद्र को भेजा प्रस्ताव.

-sponsored-

- Sponsored -

-sponsored-

 

सिटी पोस्ट लाइव : बिहार सरकार ने बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने का प्रस्ताव केंद्र सरकार के पास भेज दिया है. इस प्रस्ताव में बताया गया है कि राज्य में निर्धन तबके को गरीबी से बाहर निकलना और अन्य कल्याणकारी योजनाओं के लिए 2.50 लाख करोड़ की आवश्यकता है. विशेष राज्य का दर्जा मिलने पर बिहार को हर साल 50,000 करोड़ की बचत होगी. इससे बिहार अपने लक्ष्य को आसानी से प्राप्त कर सकेगा.

 

पांच पेज के प्रस्ताव में विशेष राज्य के दर से के पक्ष में कई तार्किक आधार दिए गए हैं. राज्य के योजना और विकास मंत्री विजेंद्र यादव का कहना है कि केंद्र द्वारा गठित रघु राजन समिति ने देश के 10 सर्वाधिक पिछले राज्यों को चिन्हित किया था. इसमें बिहार भी शामिल था. मंत्री का कहना है कि इन राज्यों के विकास के लिए विशेष सहायता की बात भी कही गई थी. इसके मद्देनजर केंद्र बिहार को विशेष राज्य का दर्जा दे दे. उधर वित्त मंत्री विजय चौधरी की माने तो राज्य को विशेष राज्य का दर्जा मिलने से केंद्र की योजनाओं का केंद्रांश बढ़ेगा और इससे राज्य अपने संसाधनों को का उपयोग कल्याणकारी योजनाओं में कर सकेगा. प्रत्यक्ष अप्रत्यक्ष करों में छूट से निजी निवेश की गति और तेज होगी.

 

मंत्री ने कहा कि हमें केंद्रीय सहायता 90:10 के अनुपात में चाहिए जो फिलहाल नहीं है. बिहार सरकार ने विशेष राज्य का दर्जा देने की जो मांग रखी है उसमें कई अहम आधार है. राज्य सरकार का कहना है कि बिहार में गरीब परिवारों की संख्या 9442786 परिवार है इनकी आज 6,000 मासिक है. बिहार में गरीब परिवार की संख्या 34.33 फीसदी है राज्य के 63.74 फ़ीसदी परिवार की मासिक आय केवल 10,000 तक है. मात्र 9.983 फ़ीसदी परिवार ही 50,000 तक मासिक अर्जित करते हैं.

 

विजय चौधरी ने कहा कि बिहार सरकार ने गरीबी दूर करने की योजना को लेकर जो प्रस्ताव तैयार किया गया है इसके तहत प्रदेश के 94 लाख गरीब परिवार को दो-दो लाख रुपए दिए जाने हैं. आवासहीन परिवारों को जमीन के लिए 60,000 की बजाय 1 लख रुपए और घर बनाने के लिए 120000 रुपये दिए जाने हैं. सतत जीविकोपार्जन योजना के लिए एक लाख की जगह 2 लाख दिए जाने की योजना है. पूरी योजना पर 5 सालों में 2.50 लाख करोड़ खर्च होने हैं. 5 साल में इसे पूरा करने के लिए हर साल 50000 करोड़ रुपए की जरूरत पड़ेगी.

- Sponsored -

-sponsored-

Subscribe to our newsletter
Sign up here to get the latest news, updates and special offers delivered directly to your inbox.
You can unsubscribe at any time

-sponsored-

Comments are closed.