सिटी पोस्ट लाइव
पटना: पूर्व केंद्रीय मंत्री और राष्ट्रीय लोक मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष, उपेंद्र कुशवाहा ने नीतीश कुमार के महागठबंधन में संभावित शामिल होने के सवाल पर कड़ा और तगड़ा जवाब दिया। उन्होंने इसे “फालतू की बातें” करार देते हुए कहा, “यह सब सिर्फ मीडिया के प्रचार का हिस्सा है, जो पूरी तरह से बेबुनियाद है।” कुशवाहा ने साफ शब्दों में कहा, “जब तक नीतीश कुमार खुद इस पर कोई बयान नहीं देते, ये सब बातें हवा में तैरने जैसी हैं।”
शिवसेना नेता संजय रावत द्वारा जेडीयू के 10 सांसदों के बीजेपी द्वारा तोड़े जाने पर उठाए गए सवाल पर कुशवाहा ने कहा, “यह सब बकवास है, नीतीश कुमार नाराज नहीं हैं, और जो कुछ भी कहा जा रहा है, वह केवल शोर है।” उन्होंने आगे कहा, “जो लोग इस तरह की बातें फैला रहे हैं, उनका उद्देश्य केवल अफवाह फैलाना है।”
प्रशांत किशोर के आमरण अनशन और उनके वैनिटी वैन पर तंज करते हुए कुशवाहा ने कहा, “यह वही लोग हैं जो इस तरह के हंगामे करते हैं, बस प्रचार के लिए। इनका प्रचार करना न तो जरूरी है और न ही कोई अर्थ रखता है।” इस पर ज्यादा चर्चा करना व्यर्थ है। कुशवाहा के इन तीखे और साफ शब्दों में बयान ने राजनीति में हलचल मचा दी, जिसमें उन्होंने दोनों मामलों पर अपनी कड़ी नराजगी जाहिर की।
वहीं मांझी ने स्पष्ट किया कि नीतीश कुमार एनडीए के मजबूत स्तंभ हैं और बिहार की जनता उनके सुशासन को याद रखती है। मांझी ने आगे कहा, “तेजस्वी के साथ जाने का मतलब होगा अपने सुशासन के नाम को बदनाम करना। यह बिहार की जनता कभी नहीं चाहेगी।”