सिटी पोस्ट लाइव : दिल्ली विधानसभा चुनाव में जिस तरह से इंडिया ब्लॉक के अंदर घमशान मचा है उसको लेकर इंडिया गठबंधन के अस्तित्व को लेकर सवाल उठ रहे हैं. क्या विधानसभा चुनावों में इंडिया गठबंधन खत्म हो गया है? इस बीच इंडिया गठबंधन के दिग्गज नेता शरद पवार ने भी तेजस्वी यादव की तरह कह दिया है कि इंडिया गठबंधन सिर्फ राष्ट्रीय स्तर के चुनावों के लिए बना है. विधानसभा चुनाव में इसका कोई मतलब नहीं है. उन्होंने कहा कि लोकल चुनाव और राज्य के चुनावों के लिए कभी इंडिया गठबंधन में चर्चा नहीं हुई. किसी कारणवश मध्यावधि चुनाव नहीं हुए तो लोकसभा चुनाव पांच साल बाद 2029 में ही होंगे.
एनसीपी के नेता शरद पवार ने इंडिया गठबंधन में विवाद पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि इंडिया गठबंधन में लोकल और स्टेट लेवल के चुनाव पर कभी कोई चर्चा नहीं हुई. उन्होंने आरएसएस की तारीफ पर भी सफाई दी. पवार ने कहा कि उन्होंने आरएसएस की विचारधारा का समर्थन नहीं किया बल्कि कार्यकर्ताओं की मेहनत की प्रशंसा की. उन्होंने कहा था कि जिस तरह आरएसएस कार्यकर्ता अपने विचारधारा पर दृढ़ रहते हैं, वैसे कार्यकर्ताओं की जरूरत उनकी पार्टी को भी है.
इंडिया गठबंधन को लेकर शरद पवार का बयान उस समय आया है कि जब जम्मू-कश्मीर के सीएम उमर अब्दुल्ला ने मीटिंग नहीं बुलाने पर ऐतराज जताया था. अब्दुल्ला ने कहा था कि विधानसभा चुनावों के लिए चर्चा नहीं हो रही है. न ही गठबंधन का एजेंडा और नेतृत्व पर बात हो रही है. अगर गठबंधन खत्म हो गया है तो स्पष्ट कर देना चाहिए. शिवसेना (यूबीटी) के नेता संजय राउत ने भी संवाद नहीं करने के लिए कांग्रेस की आलोचना की थी. उन्होंने कहा कि कांग्रेस गठबंधन की बड़ी पार्टी है और उसे सहयोगी दलों से बातचीत करना चाहिए. इससे पहले टीएमसी प्रमुख ममता बनर्जी ने भी इंडिया गठबंधन के नेतृत्व को लेकर अपनी दावेदारी पेश कर दी थी.उन्हें शरद पवार के साथ लालू यादव का समर्थन हासिल था.
दिल्ली चुनाव के बाद बिहार, फिर पश्चिम बंगाल जैसे राज्यों में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं. अगर शरद पवार के बयान को सच माना जाए तो बिहार में लालू यादव और पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी चुनावों में गठबंधन का फैसला करेंगी. लोकसभा चुनाव में ममता बनर्जी अकेले ही बंगाल की सभी सीटों पर चुनाव लड़ी थी और बड़ी जीत हासिल की थी.बिहार में भी तेजस्वी यादव कांग्रेस को भाव नहीं दे रहे हैं.