सिटी पोस्ट लाइव :ऑनलाइन एग्जाम सेंटर का चलन देश में बढ़ता जा रहा है.अब तमाम परीक्षाएं ऑनलाइन ली जा रही हैं.बिहार-झारखंड में 70 से अधिक ऑनलाइन एग्जामिनेशन सेंटर हैं.सूत्रों के अनुसार करीब दो दर्जन ऑनलाइन एग्जाम सेंटर ऐसे हैं जिनमें परीक्षा माफियाओं ने पैसा लगाया है.मतलब साफ़ है ऑनलाइन परीक्षा में बड़ा खेल हो रहा है. परीक्षा कराने वाली एक एजेंसी के स्टेट हेड और मुजफ्फरपुर के एक परीक्षा केंद्र के मालिक के बीच हुई बातचीत से ये खुलासा हुआ है.परीक्षा का संचालन करने वाली एजेंसी उसी केंद्र पर परीक्षा कराती है जो पैसे देती है.
परीक्षा माफिया, परीक्षा का संचालन करने वाली एजेंसी का स्टेट हेड और ऑनलाइन एग्जामिनेशन सेंटर के मालिक मिले होते हैं.स्टेट हेड कम से कम 2 लाख लेकर ऑनलाइन सेंटर बुक करता है. इसके बाद परीक्षा सेंटर का मालिक और परीक्षा माफिया वैसे अभ्यर्थियों को लाभ पहुंचाते हैं जो तयशुदा रकम चुकाते हैं. परीक्षा माफिया अधिकांश प्रतियोगी परीक्षाओं में 10 करोड़ से अधिक का खेल करता है. दानापुर एएसपी अभिनव धीमान के अनुसार दानापुर और खगौल केस में ऑनलाइन सेंटर में फर्जीवाड़े की बात आई है. इनसे जुड़े माफियाओं का नेटवर्क खंगाला जा रहा है.
परीक्षा केंद्र पर जहां सर्वर रूम या फिर नेटवर्क स्विच होता है, वहां बाहर से सैकड़ों तार आते हैं. इन्हीं तारों के बीच से सेटिंग वाले कनेक्शन का तार घुसा देते हैं. यह एक्सटर्नल तार परीक्षा केंद्र के नेटवर्क स्विच में लगते ही सर्वर को बाईपास कर देता है. जिस कम्प्यूटर पर सेटिंग वाले अभ्यर्थी बैठते हैं, वहां कस्टमाइज सीपीयू (कीमत- करीब 1 लाख) लगाते हुए उसमें इंटरनेट कनेक्शन उपलब्ध करा दिया जाता है. ऐसे सिस्टम पर उन्हीं अभ्यर्थियों को बिठाया जाता है जिनसे पैसे वसूले गए हैं.
हर केंद्र में कुल क्षमता का 10 % बफर (एक्स्ट्रा) सीट होती हैं. इन सीट पर भी सेंटर मालिक कस्टमाइज सीपीयू लगा देता है और इंटरनेट से जोड़ देता है. सिटिंग अरेंजमेंट बिगड़ने पर खास अभ्यर्थियों को इन पर भेज दिया जाता है. फिर सॉल्वर दूर बैठकर सिस्टम को रिमोट पर लेता है और पेपर सॉल्व हो जाता है.